ज्ञान मत दो, इल्तिजा मुफ्ती ने हिंदुत्व को ‘बीमारी’ कहा तो भड़के मुख्तार अब्बास नकवी
इल्तिजा ने कहा, 'हिंदुत्व और हिंदू धर्म में बहुत अंतर है। हिंदुत्व नफरत का दर्शन है जिसे सावरकर (विनायक दामोदर) ने 1940 के दशक में भारत में फैलाया था जिसका उद्देश्य हिंदुओं का आधिपत्य स्थापित करना था और दर्शन यह था कि भारत हिंदुओं का है और हिंदुओं के लिए है।
जम्मू-कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री महबूबी मुफ्ती की बेटी इल्तिजा के बयान पर विवाद जारी है। अब भारतीय जनता पार्टी नेता मुख्तार अब्बास नकवी ने PDP नेता को हिंदुत्व पर ‘ज्ञान’ नहीं देने की सलाह दी है। इल्तिजा ने हिंदुत्व को ‘बीमारी’ करार दिया था। हाल ही में हुए विधानसभा चुनाव में इल्तिजा को 9 हजार से ज्यादा वोटों से हार का सामना करना पड़ा था।
इल्तिजा ने एक वीडियो पोस्ट किया जिसमें एक मुस्लिम व्यक्ति की कथित तौर पर पिटाई की जा रही है। उन्होंने सोशल मीडिया मंच पर लिखा, ‘यह सब देखकर भगवान राम भी बेबसी और शर्म से सिर झुका लेंगे कि नाबालिग मुस्लिम लड़कों को सिर्फ इसलिए चप्पलों से पीटा जा रहा है क्योंकि उन्होंने ‘राम’ का नाम लेने से इनकार कर दिया। हिंदुत्व एक बीमारी है, जिसने लाखों भारतीयों को प्रभावित किया है और भगवान के नाम को कलंकित किया है।’
इल्तिजा ने कहा, ‘हिंदुत्व और हिंदू धर्म में बहुत अंतर है। हिंदुत्व नफरत का दर्शन है जिसे सावरकर (विनायक दामोदर) ने 1940 के दशक में भारत में फैलाया था जिसका उद्देश्य हिंदुओं का आधिपत्य स्थापित करना था और दर्शन यह था कि भारत हिंदुओं का है और हिंदुओं के लिए है।’
क्या बोले मुख्तार अब्बास नकवी
नकवी ने कहा, ‘हिंदुत्व इस देश की संस्कृति है, संस्कार है… और जो इस देश की संस्कृति और संस्कार को नहीं जानते हैं, उन्हें निश्चित रूप से सनातन संस्कृति पर संदेश दिए जाने की जरूरत है।’ उन्होंने कहा, ‘हिंदुत्व समाज के सभी वर्गों को साथ लेकर चलने और समावेशी सोच के साथ आगे बढ़ने का संदेश देता है। इसके बारे में ज्ञान देने की कोई जरूरत नहीं है।’